जहानाबाद के रतनी सरकार द्वारा भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने का हर तरह का हथकंडा अपनाया जा रहा है फिर भी प्रखंड के बाल विकास परियोजना पदाधिकारी द्वारा आ॑गनवाड़ी के॑द्रो में 3-6 वर्ष के पढ़ने वाले बच्चों को पोशाक हेतु सरकार द्वारा दी जाने वाली राशि में अनमितता का मामला प्रकाश में आया था। यहां यह बताते चले कि समेकित बाल विकास सेवा बिहार,समाज कल्याण विभाग बिहार पटना के अनुश्रवण पदाधिकारी आई सी डी एस के पत्रांक 567/21 के द्वारा स्पष्ट निर्देशित किया गया है। कि डी बी टी के माध्यम से लाभर्थियों के खाते में पोशाक की राशी भेजें जाने का आदेश निर्गत के बावजूद भी बाल विकास परियोजना पदाधिकारी रतनी फरीदपुर द्वारा लाभार्थियों को राशि न भेजकर अपने स्तर से आंगनवाड़ी केन्द्रों पर सेविका द्वारा कपड़ा बितरण करने का मामला प्रकाश में आया था।जिसके फलस्वरूप खबर भी प्रकाशित किया गया था। वही इस मामला को लेकर एक महिला पर्यवेक्षिका द्वारा भ्रष्टाचार का मामला उजागर करने पर उक्त महिला र्पवेक्षिका को प्रतिनियुक्ति पर जाने को बाल विकास परियोजना पदाधिकारी द्वारा बिवस कर किया गया था।वही कुछ आंगनवाड़ी सेविका द्वारा जानकारी प्राप्त हुआ है।
कि प्रति माह भाउचर जमा करने हेतु बाल विकास परियोजना पदाधिकारी द्वारा नियुक्त दलाल के जिम्मे दिया गया है।उनलोगो ने नाम न छापने के सवाल पर बताई कि बाल विकास परियोजना कार्यालय दलाल के जिम्मे देकर हमलोगो को शोषण किया जाता है।और बताई कि यदि हमलोग कुछ भी बोलने का प्रयास करना चाहते हैं तो उल्टे तरह तरह के बात बोलकर डराने की कोशिश किया जाता है। जिसके कारण कोई भी सेविका कुछ भी कहने से डरती है। वैसे मामला चाहे जो कुछ भी हो बाल विकास परियोजना कार्यालय दलाल के जिम्मे चलने की बात सामने आई है। वही जब बाल विकास परियोजना पदाधिकारी से बात कर ,मामला की जानकारी लेने की कोशिश किया गया तो,बात नहीं हो सका। मोबाइल से सम्पर्क करना चाहा तो पदाधिकारी द्वारा मोबाइल रिसीव नहीं किया जा सका।
जहानाबाद से दीपक शर्मा की रिपोर्ट